घर समाचार

दिल्ली की शिक्षा प्रणाली में सुधार की अगुवा: अतिशी मार्लेना की कहानी

शैक्षिक यात्रा की शुरुआत

अतिशी मार्लेना का जन्म एक शिक्षित परिवार में हुआ, जहां उनके माता-पिता विजय सिंह और त्रिप्ता वही दिल्ली विश्वविद्यालय में प्रोफेसर थे। स्कूल के दिनों से ही उनके अंदर शिक्षा के प्रति गहरा लगाव विकसित हो गया था। उन्होंने नई दिल्ली के प्रख्यात स्कूल, स्प्रिंगडेल्स से अध्ययन किया। इसके बाद, उन्होंने सेंट स्टीफन कॉलेज, दिल्ली विश्वविद्यालय से इतिहास में स्नातक की पढ़ाई की, जहां उन्होंने क्लास में टॉप किया और उन्हें सुमितोमो-सेंट स्टीफन स्कॉलरशिप और राजपाल मेमोरियल अवार्ड मिला।

उनकी उच्च शिक्षा ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी में आगे बढ़ी, जहां उन्होंने दो मास्टर डिग्री प्राप्त की। इस दौरान उन्हें चिवनिंग और रोड्स स्कॉलरशिप के माध्यम से प्रोत्साहन और समर्थन मिला। राजनीति में आने से पहले, उन्होंने आंध्र प्रदेश के ऋषि वैली स्कूल में इतिहास और अंग्रेज़ी का शिक्षण भी किया।

राजनीतिक करियर और प्रमुख सुधार

राजनीतिक करियर और प्रमुख सुधार

2013 में आम आदमी पार्टी में शामिल होने के बाद, अतिशी ने पार्टी के घोषणापत्र को तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। तत्कालीन शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया की सलाहकार के रूप में, उन्होंने दिल्ली के सरकारी स्कूलों में अधोसंरचना सुधार, निजी स्कूलों की फीस नियंत्रण, और अभिभावक-शिक्षक बैठकें तथा 'खुशी पाठ्यक्रम' जैसे सुधारों की अगुवाई की।

2020 तक, अतिशी ने दिल्ली सरकार में शिक्षा, वित्त, और जल जैसे 11 विभागों का प्रबंधन किया। 2018 में, उन्होंने अपने नाम से 'मार्लेना' हटा दिया, जो कि मार्क्स और लेनिन का मिश्रण था, और उनके कार्यों पर फोकस किया गया। उनकी नेतृत्व क्षमता के परिणामस्वरूप, वह सितंबर 2024 में अरविन्द केजरीवाल की उत्तराधिकारी बनकर दिल्ली की सबसे कम उम्र की और तीसरी महिला मुख्यमंत्री बनीं।

उनकी संपत्ति ₹1.41 करोड़ आंकी गई है और वह एक मितव्ययी वित्तीय दृष्टिकोण के लिए जानी जाती हैं। अतिशी ने सामाजिक न्याय और पर्यावरणीय मुद्दों पर हमेशा जोर दिया है, और उनका यह योगदान निर्विवाद रूप से प्रशंसनीय है।

संबंधित पोस्ट

एक टिप्पणी लिखें

आपकी ईमेल आईडी प्रकाशित नहीं की जाएगी