भारतीय निर्वाचन आयोग (एसीआई) ने सभी 70 विधानसभा क्षेत्रों के लिए एक ही दिन में, एक ही समय पर मतगणना का शेड्यूल फाइनल कर दिया है। प्रक्रिया 8 फ़रवरी 2025 को सुबह 8:00 बजे शुरू होगी, पहले डाक़ टिकट (पोस्टल बैलेट) गिने जाएँगे। पोस्टल बैलेट में सरकारी कर्मचारियों, सेवा मतदाताओं और वृद्ध/विकलांग नागरिकों के वोट शामिल हैं जो दूरस्थ मतदान विकल्प को चुनते हैं।
पोस्टल बैलेटों की गिनती के बाद इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को अनलॉक किया जाएगा। यूरोप की तरह एक बार में सभी मशीनें नहीं गिनी जाएँगी; एसीआई ने इसे कई चरणों में बाँट कर जारी किया है, ताकि तकनीकी गड़बड़ी या मानव त्रुटि के जोखिम को न्यूनतम किया जा सके। हर चरण के बीच में मशीनों की जाँच‑पड़ताल, बैक‑अप कपी की तुलना और संभावित पुनः गिनती की व्यवस्था होगी।
गिनती के दौरान सुबह 1 बजे तक शुरुआती प्रवृत्तियों की उम्मीद है। एसीआई का कहना है कि यदि सब ठीक रहा तो दोपहर 3 बजे तक अधिकांश सीटों के परिणाम सामने आ सकेंगे, और शाम 6 बजे तक सभी 70 क्षेत्रों के पूर्ण परिणाम प्रकाशित कर दिए जाएंगे।
इस चुनाव में कुल 699 उम्मीदवारों ने दावेदारियाँ दर्ज करवाईं – 603 पुरुष और 96 महिलाएँ, जिससे यह एक तीव्र बहुपक्षीय लड़ाई बन गई। ऐतिहासिक तौर पर दिल्ली में एएपी ने 2020 में 62 सीटें जीत कर एक लैंडस्लाइड हासिल किया था, जबकि बीजेडी को मात्र 8 सीटें और कांग्रेस को कोई सीट नहीं मिली थी। 2025 में परिदृश्य बदल सकता है, क्योंकि एसीआई द्वारा प्रकाशित एग्जिट पोल ने बीजेडी को संभावित जिता बताने की कोशिश की है, जबकि एएपी के पास अभी भी एक स्थिर वोट बेस है।
कुल 70 क्षेत्रों में कुछ विशेष क्षेत्र हैं, जिनकी रेसलिंग वोटर बेस के कारण वे परिणाम को काफी हद तक प्रभावित कर सकते हैं:
एग्जिट पोल के अनुसार कांग्रेस की उम्मीदें बहुत कम हैं – केवल 1‑2 सीटों की संभावना बताई गई है। इससे यह स्पष्ट हो जाता है कि एएपी और बीजेडी ही इस चुनाव की दो बड़ी जिमी होंगी, और वोटरों के निर्णय दोनों के बीच ही सीमित रहेंगे।
वोटर टर्नआउट 60.42% रहा, जो पिछले चुनाव से थोड़ा घटा है, पर फिर भी दिल्ली की जनसंख्या के बड़े हिस्से ने अपना मतदान अधिकार प्रयोग किया है। इस दौरान कई वोटरों ने नई मतदान सुविधाओं जैसे ई-हेल्प और मोबाइल ऐप का उपयोग किया, जिससे मतगणना के बाद रियल‑टाइम डेटा को ट्रैक करना आसान हो गया। एसीआई की आधिकारिक वेबसाइट eci.gov.in और रियल‑टाइम पोर्टल results.eci.gov.in पर हर बार के अपडेट उपलब्ध होंगे। प्रमुख समाचार चैनलों के लाइव फीड भी इस दिन 24/7 स्क्रीन पर दिखेंगे।
जैसे ही पोस्टल बैलेट गिने जाएंगे और ईवीएम की गिनती शुरू होगी, राजनीतिक विश्लेषकों की नज़रें गिनती के मध्यस्थ चरणों पर टिकी रहेंगी। कई विशेषज्ञ पहले दो घंटे में ही यह अनुमान लगाने की कोशिश करेंगे कि कौन से क्षेत्रों में मतों की प्रवृत्ति बदल रही है, और कौन से उम्मीदवार अपनी पकड़ खो रहे हैं। इस दौरान सोशल मीडिया पर भी तेज़ी से अनुमान और चर्चा चलती रहेगी, जिसमें कई बार गलत सूचना भी फैल सकती है। इसलिए एसीआई ने मीडिया को चेतावनी दी है कि आधिकारिक परिणाम आने से पहले किसी भी अनुमान को सूचीबद्ध न किया जाए।
भविष्य में दिल्ली के विकास के दिशा-निर्देश इस चुनाव के परिणाम पर निर्भर करेंगे। एएपी अगर फिर से सत्ता में आई, तो वह स्वास्थ्य, शिक्षा, परिवहन और महिलाओं की सुरक्षा जैसे मुद्दों पर अपने पिछले अभिज्ञान को आगे बढ़ा सकती है। वहीं अगर बीजेडी को बहुमत मिल जाता है, तो वह राष्ट्रीय सरकार के साथ निकट सहयोग के तहत बुनियादी ढांचा परियोजनाओं को तेज़ी से लागू कर सकती है। किसी भी परिदृश्य में, अगले पाँच वर्षों में दिल्ली के नागरिकों को सार्वजनिक सेवाओं में अनुभव होने वाली बदलावों को सीधे इस चुनाव का परिणाम निर्धारित करेगा।
इस重要 दिन पर, नागरिकों, उम्मीदवारों और विश्लेषकों का फोकस केवल वोटों की गिनती नहीं, बल्कि लोकतंत्र की पारदर्शिता और विश्वसनीयता पर भी है। एसीआई ने सुनिश्चित किया है कि प्रक्रिया न केवल तेज़ हो, बल्कि न्यायसंगत और भरोसेमंद भी हो। जैसा कि हमने पहले कहा, दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 का अंतिम परिणाम शाम 6 बजे तक सभी के सामने आएगा।
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