Sensex – भारत का प्रमुख शेयर बाजार इंडेक्स

जब हम Sensex, Bombay Stock Exchange पर 30 बड़ी कंपनियों के शेयरों का मूल्य‑वज़नित औसत की बात करते हैं, तो Sensex बाजार के मूवमेंट को समझने का प्रमुख तरीका बनता है। इसे अक्सर भारतीय इक्विटी मार्केट के स्वास्थ्य का बेंचमार्क कहा जाता है क्योंकि यह इंडस्ट्री के विभिन्न सेगमेंट का प्रतिनिधित्व करता है। इस पेज पर आप पाएँगे कि कैसे RBI की मौद्रिक नीति, वैश्विक आर्थिक खबरें और कंपनी-व्यापी ट्रेंड इस इंडेक्स को प्रभावित करते हैं।

मुख्य घटक और परस्पर संबंध

Sensex का दो‑मुखी संबंध BSE, Bombay Stock Exchange, भारत का पुराना और प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज के साथ है—यहाँ के ट्रेडिंग डेटा सीधे Sensex में प्रतिबिंबित होते हैं। साथ ही, Nifty 50, NSE का मुख्य बाजार सूचकांक, जो 50 बड़े‑कंपनी शेयरों को कवर करता है भी निवेशकों के लिए एक वैकल्पिक बेंचमार्क है, और अक्सर दोनों सूचकांक समान दिशा में चलते हैं। जब RBI ब्याज दरों में परिवर्तन करता है, तो फिक्स्ड‑इनकम और इक्विटी दोनों पर असर पड़ता है, जिससे निवेशक अपनी पोर्टफोलियो रणनीति घुड़ते हैं। इस तरह के कारणों को समझना आपको Sensei जैसा महसूस कराएगा—बाजार के उतार‑चढ़ाव में सटीक निर्णय लेने में मदद करेगा।

इन इंडेक्सों को देखते हुए, शेयर बाजार की खबरों की विविधता भी बड़ी भूमिका निभाती है। उदाहरण के तौर पर, हाल ही में BSE के शेयरों में 7% की उछाल देखी गई, जो बोनस शेयर जारी करने के बाद निवेशकों का भरोसा दर्शाता है। इसी तरह, RBI के नई नीतियों का प्रभाव अक्सर अगले ट्रेडिंग सत्र में स्पष्ट होता है, जैसा कि पिछले महीने की मौद्रिक नीति बैठक में उल्लेखित था। जब आप इस पेज का उपयोग करेंगे, तो आप पाएँगे कि कैसे इन सभी तत्वों का सम्मिश्रण Sensex को आगे‑पीछे करता है।

अभी के समय में, डिजिटल प्लेटफ़ॉर्म और रियल‑टाइम डेटा के कारण निवेशकों को तुरंत अपडेट मिलते हैं। यह बदलता परिदृश्य छोटे‑से‑बड़े निवेशकों दोनों को सटीक विश्लेषण करने में सक्षम बनाता है—चाहे आप दैनिक ट्रेडिंग कर रहे हों या लांग‑टर्म पोर्टफोलियो बना रहे हों। हमारी लेख सूची में आप विभिन्न विषयों पर गहराई से पढ़ेंगे: RBI की नीति घोषणाएँ, प्रमुख कंपनियों के क्वार्टरली रिपोर्ट, और मौसमी आर्थिक संकेतक जो Sensex को प्रभावित करते हैं।

नीचे आप देखेंगे कि कैसे अलग‑अलग लेखों ने इन बिंदुओं को उजागर किया है, जिससे आप अपनी निवेश रणनीति को तेज़ी से अपडेट कर सकेंगे। चाहे आप शुरुआती हों या अनुभवी ट्रेडर, यह संग्रह आपके लिए भरोसेमंद गाइड बन सकता है। अब आगे बढ़ें और जानें कौनसे कारक आज के Sensex को आकार दे रहे हैं।

सेंसेक्स गिरावट: H‑1B नीति और फार्मा टैरिफ के दबाव में भारतीय शेयर बाजार
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सेंसेक्स गिरावट: H‑1B नीति और फार्मा टैरिफ के दबाव में भारतीय शेयर बाजार

22 सितंबर 2025 को भारतीय शेयर बाजार में बड़ी गिरावट दर्ज हुई। ट्रम्प की नई H‑1B वीजा नीति ने आईटी स्टॉक्स को दबाव में डाला, जबकि अमेरिकी टैरिफ के डर से फार्मा शेयर भी नीचे गए। विदेशी संस्थागत निवेशकों की निरंतर बिक्री और तकनीकी स्तरों पर प्रतिरोध ने निफ्टी को भी असहाय कर दिया। फेडरल रिजर्व के ब्याज दर कट से कुछ सकारात्मक संकेत मिले, पर बाजार का मूड नाज़ुक बना रहा।

सितंबर 26 2025